गैर-शराबी वसा यकृत रोग: यकृत हमारे शरीर का एक महत्वपूर्ण अंग है, जो पाचन से लेकर विषहरण तक 500 से अधिक कार्य करता है। लेकिन आधुनिक जीवनशैली और अस्वस्थ आहार ने इस अंग को गंभीर खतरे में डाल दिया है। आपको जानकर आश्चर्य होगा कि आज भारत में लगभग हर तीन में से एक व्यक्ति गैर-शराबी वसा यकृत रोग (NAFLD) से ग्रस्त है।

यह एक ऐसी स्थिति है जिसमें यकृत में अतिरिक्त वसा जमा हो जाती है, जबकि व्यक्ति शराब का सेवन बहुत कम या बिल्कुल नहीं करता। सबसे चिंताजनक बात यह है कि यह एक 'चुप' रोग है, जिसके प्रारंभिक चरणों में कोई स्पष्ट लक्षण नहीं होते, और जब इसका पता चलता है, तब तक यकृत को काफी नुकसान हो चुका होता है। इसलिए, इस लेख में हम गैर-शराबी वसा यकृत रोग के प्रारंभिक लक्षणों की चर्चा करेंगे।
प्रारंभिक लक्षण क्या हैं?
वसा यकृत के प्रारंभिक लक्षण सामान्य और अस्पष्ट हो सकते हैं, जिन्हें अक्सर नजरअंदाज किया जाता है। इनमें सबसे प्रमुख लक्षण अत्यधिक थकान और कमजोरी हैं।
कुछ व्यक्तियों को ऊपरी दाहिनी पेट में हल्का दर्द या भारीपन महसूस हो सकता है, साथ ही खाने के बाद पेट फूलने की समस्या भी हो सकती है। यदि ये लक्षण लगातार बने रहते हैं, तो इन्हें सामान्य समझकर नजरअंदाज नहीं करना चाहिए; डॉक्टर से परामर्श करना आवश्यक है।
किसे सबसे अधिक खतरा है?
गैर-शराबी वसा यकृत रोग मुख्य रूप से जीवनशैली से संबंधित है। जिन लोगों का वजन अधिक है या जो मोटे हैं, उन्हें सबसे अधिक खतरा होता है।
इसके अलावा, जिन लोगों को टाइप 2 मधुमेह, उच्च कोलेस्ट्रॉल, उच्च ट्राइग्लिसराइड्स, और मेटाबॉलिक सिंड्रोम है, उन्हें भी इस रोग का खतरा काफी बढ़ जाता है।
यह रोग 'गंभीर' क्यों है?
यदि वसा यकृत का समय पर उपचार नहीं किया गया, तो यह गंभीर हो सकता है। यकृत में वसा का संचय सूजन का कारण बन सकता है, जिसे NASH (गैर-शराबी स्टीटोहेपेटाइटिस) कहा जाता है।
यह सूजन धीरे-धीरे यकृत को स्थायी रूप से नुकसान पहुंचा सकती है, जिससे फाइब्रोसिस या सिरोसिस (यकृत का सिकुड़ना) हो सकता है, और कुछ मामलों में, यहां तक कि यकृत कैंसर भी हो सकता है।
इससे कैसे बचें?
जैसा कि हम जानते हैं, यह एक जीवनशैली से संबंधित रोग है, इसलिए इसे रोका जा सकता है। स्वस्थ वजन बनाए रखना सबसे अच्छा उपाय है। अपने आहार में फलों, सब्जियों और साबुत अनाज को शामिल करें, और तले हुए, मीठे और प्रोसेस्ड खाद्य पदार्थों से बचें। रोजाना कम से कम 30 मिनट व्यायाम करें। यदि आपको मधुमेह या उच्च कोलेस्ट्रॉल है, तो उसे नियंत्रित रखें। इन सरल कदमों से आप अपने यकृत को स्वस्थ रख सकते हैं।
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