राजस्थान के स्कूलों में ग्रीष्मकालीन अवकाश का सत्र शुरू हो गया है। शिक्षक और विद्यार्थी अगले डेढ़ महीने तक ग्रीष्मकालीन अवकाश का आनंद लेंगे। इतना ही नहीं पहली बार जिला शिक्षा अधिकारी भी ग्रीष्मकालीन अवकाश पर जा रहे हैं। क्योंकि, प्रदेश में 278 प्रिंसिपल जिला शिक्षा अधिकारी या उनके समकक्ष पद पर पदोन्नति के बाद भी तीन महीने से स्कूलों का कार्यभार संभाल रहे हैं। शिक्षा विभाग ने अभी तक उन्हें जिला शिक्षा अधिकारी के पद पर पदस्थापित नहीं किया है। इसके चलते स्कूलों की छुट्टियों के साथ ही वे अगले डेढ़ महीने तक ग्रीष्मकालीन अवकाश का भी लाभ उठाएंगे।
554 पद स्वीकृत, आधे खाली
शिक्षा विभाग में जिला शिक्षा अधिकारी के कुल 554 पद स्वीकृत हैं। इनमें से करीब आधे पद रिक्त हैं। इसके बावजूद विभाग ने पदोन्नत डीईओ को पदस्थापित नहीं किया है। यह भी आश्चर्य की बात है कि पदोन्नत अधिकारियों को डीईओ पद का वेतनमान मिल रहा है।
फरवरी में पदोन्नति, फिर भी स्कूलों में अटकी
शिक्षा विभाग ने फरवरी माह में 2023-24 की डीपीसी में 182 प्रिंसिपलों को डीईओ पद पर पदोन्नत किया था। इसी तरह 2024-25 की डीपीसी में 147 प्राचार्यों को डीईओ के पद पर पदोन्नत किया गया। दोनों सत्रों में कुल 329 प्राचार्यों को डीईओ के पद पर पदोन्नत किया गया। पदोन्नत प्राचार्यों को उनके संबंधित स्थानों पर डीईओ के पद का कार्यभार ग्रहण कराया गया। पिछले तीन माह से वे अपने-अपने विद्यालयों का संचालन कर रहे थे। इनमें से 51 प्राचार्य सेवानिवृत्त हो गए। शेष 278 प्राचार्य विद्यालयों में ही जमे हुए हैं।
जल्द हो पोस्टिंग
लंबे समय बाद डीपीसी हुई। पोस्टिंग के इंतजार में कई सेवानिवृत्त हो गए। सरकार को जल्द ही उनकी पोस्टिंग पर निर्णय लेना चाहिए। शिक्षा विभाग में पहले से ही बड़ी संख्या में डीईओ के पद रिक्त हैं।
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